नवाब वाजिद अली शाह लखनऊ चिड़ियाघर में राज्य संग्रहालय बना हुआ है| इस संग्रहालय में इजिप्ट की ममी से लेकर अमर शहीद क्रांतिकारी चंद्रशेखर आजाद का अस्थि कलश रखा हुआ है|यही नहीं, यहां पर देश के अलग-अलग हिस्सों में जमीन से खुदाई के दौरान मिली हुई पहली और दूसरी शताब्दी की देवी देवताओं की मूर्तियां भी है|

लखनऊ चिड़ियाघर में राज्य संग्रहालय सुबह 10 बजे खुल जाता है और शाम को 5 बजे बंद होता है| यहां पर बड़ों का टिकट 12 रुपये का है, जबकि 5 साल से लेकर 12 वर्ष के बीच तक के बच्चों का टिकट सिर्फ 5 रुपये का है|वहीं विदेशी पर्यटकों का टिकट 210 रुपये निर्धारित किया गया है|

राज्य संग्रहालय में मुख्य आकर्षण का केंद्र अमर शहीद चंद्रशेखर आजाद का अस्थि कलश है| इस कलश को 1 अगस्त 1976 को महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ वाराणसी से शोभायात्रा के जरिए लेकर लखनऊ लाया गया था| फिर इस राज्य संग्रहालय में 10 अगस्त 1976 को शोभायात्रा खत्म होने के बाद रख दिया गया था|

इजिप्शियन गैलरी भी यहां पर बनी हुई ,है जिसमें 13 वर्षीय लड़की की एक ममी रखी है| इस ममी को सन 1952 में राज्य संग्रहालय लाया गया था|इसे एक ब्रिटिशर से खरीद कर लाया गया था| यह ममी इजिप्ट की है और करीब 100 साल पुरानी है| एक्स-रे में पता चला था कि इस ममी के पैर में एक फ्रैक्चर भी है|

यही नहीं, दसवीं सदी में लोग जिस दशावतार विष्णु भगवान की पूजा करते थे, उनकी भी एक प्राचीन मूर्ति रखी हुई है, जो कि प्रतापगढ़ में खुदाई के दौरान मिली थी|

चार मुखी सूर्य मूर्ति भी यहां पर रखी है जो कि गुप्त काल की बताई जाती है| यह मूर्ति इतनी आकर्षित और खूबसूरत है कि इसे लोग देखते ही रह जाते है|